Punjab State Board PSEB 6th Class Science Book Solutions Chapter 8 शरीर मे गति Textbook Exercise Questions, and Answers.
PSEB Solutions for Class 6 Science Chapter 8 शरीर मे गति
PSEB 6th Class Science Guide शरीर मे गति Textbook Questions, and Answers
1. रिक्त स्थान भरें
(i) जिस स्थान पर हड्डियाँ मिलती हैं, इस स्थान को …………………… कहते हैं।
उत्तर-
जोड़ या संधि
(ii) मानवीय पिंजर …………………….. तथा उपअस्थियों का बना होता है।
उत्तर-
हड्डियों या अस्थियों
(iii) खोपड़ी शरीर के …………………… को सुरक्षित रखती है।
उत्तर-
मस्तिष्क
(iv) केंचुआ ……………………. के प्रयोग के द्वारा गति करता है।
उत्तर-
मांसपेशियों
(v) घुटने का जोड़ …………………… जोड़ का उदाहरण है।
उत्तर-
हिंज।
2. सही या ग़लत चुनें
(i) पसली पिंजर, पसलियों के 12 जोड़ों से बना कोण (शंकु) आकार का हिस्सा है।
उत्तर-
सही
(ii) उपअस्थियाँ हड्डियों से अधिक कठोर होती हैं।
उत्तर-
ग़लत
(iii) हड्डियों को गति करने के लिए मांसपेशियों की जरूरत नहीं होती।
उत्तर-
ग़लत
(iv) धारा रेखीय (Streamlined) शरीर वह होता है, जिसमें शरीर के बीच का भाग इसके किनारे तथा पूँछ से चपटा होता है।
उत्तर-
सही
(v) साँप सीधी रेखा में बहुत तेजी से गति करते हैं।
उत्तर-
ग़लत
3. कॉलम ‘क’ का ‘ख’ से उचित मिलान करें
कॉलम ‘क’ | कॉलम ‘ख’ |
(i) कंदुक (गेंद) खल्लिका संधि | (क) खोपड़ी की हड्डियाँ |
(ii) गति न करने वाला जोड़ | (ख) उंगलियाँ |
(iii) कब्ज़ेदार जोड़ | (ग) कलाई की हड्डियाँ |
(iv) केंद्रीय जोड़ | (घ) कंधा |
(v) ग्लाइडिंग जोड़ | (ङ) सिर की गति |
उत्तर-
कॉलम ‘क’ | कॉलम ‘ख’ |
(i) कंदुक (गेंद) खल्लिका संधि | (घ) कंधा |
(ii) गति न करने वाला जोड़ | (क) खोपड़ी की हड्डियाँ |
(iii) कब्ज़ेदार जोड़ | (ख) उंगलियाँ |
(iv) केंद्रीय जोड़ | (ङ) सिर की गति |
(v) ग्लाइडिंग जोड़ | (ग) कलाई की हड्डियाँ |
4. सही विकल्प चुनिए
प्रश्न (i)
निम्नलिखित में कौन-सा अंग पसलियों द्वारा सुरक्षित होता है?
(क) दिल
(ख) मस्तिष्क
(ग) आंखें
(घ) कान।
उत्तर-
(क) दिल।
प्रश्न (ii)
घोंघे किस की सहायता के साथ चालन करते हैं ?
(क) खोल
(ख) हड्डियाँ
(ग) चिपचिपे पैर
(घ) उपअस्थियाँ।
उत्तर-
(ग) चिपचिपे पैर।
प्रश्न (iii)
मछलियां किस की सहायता से पानी में अपना संतुलन बनाकर रखती हैं तथा अपनी गति की दिशा में परिवर्तन करती हैं?
(क) सिर
(ख) गलफडे
(ग) पंख, फिन्स
(घ) शरीर के ऊपर विद्यमान चमड़ी।
उत्तर-
(ग) पंख, फिन्स।
5. अति लघूत्तर प्रश्न
प्रश्न (i)
मानवीय शरीर की सबसे लंबी हड्डी का नाम बताएं।
उत्तर-
फीमर मानवीय शरीर की सबसे लंबी हड्डी है।
प्रश्न (ii)
उस जोड़ की किस्म का नाम बताएं, जिसके द्वारा बाजू कंधे से जुड़ती है।
उत्तर-
कंदुक, खल्लिका, जोड़ या संधि। इसे अंग्रेजी में बॉल और सॉकेट जॉइंट कहते हैं।
प्रश्न (iii)
गति तथा चालन में क्या अंतर है?
उत्तर-
गति एक जीव के शरीर के किसी भी भाग की स्थिति में परिवर्तन है जबकि गमन एक जीव के परे शरीर की एक स्थान से दूसरे स्थान पर गति है।
प्रश्न (iv)
ऐसे जीव का उदाहरण दें जो चल सकता है, ऊपर चढ़ सकता है और उड़ भी सकता है।
उत्तर-
तिलचट्टा।
6. लघूत्तर प्रश्न
प्रश्न (i)
हड्डी को हिलाने के लिए मांसपेशियों के जोड़ों की ज़रूरत क्यों होती है?
उत्तर-
मांसपेशियों का संकुचन करने और शिथल अवस्था में आने के गुण हड्डियों की गति का आधार है। मांसपेशियाँ हमेशा जोड़े में काम करती हैं। जब उनमें से एक सिकुड़ती है तो वह हड्डी को उस दिशा में खींचती है जिसमें वह उभरी होती है। दूसरी मांसपेशी शिथल अवस्था में रहती है। अब हड्डी को मूल स्थिति में वापस लाने के लिए शिथल अवस्था वाली मांसपेशी सिकुड़ती है और सिकुड़ी हुई मांसपेशी शिथल अवस्था में लौट आती है।
प्रश्न (ii)
केंचुआ किस तरह गति करता है? ।
उत्तर-
केंचुए का शरीर कई वलयों अथवा छल्लों से मिलकर बना होता है। ये वलय अथवा छल्ले मांसपेशियों से जुड़े होते हैं जो शरीर को बढ़ाने या छोटा करने में मदद करते हैं। गति के दौरान केंचुआ शरीर के सामने के हिस्से को फैलाता है जबकि इसका पिछला हिस्सा जमीन पर टिका रहता है। फिर यह सामने के हिस्से को ठीक करता है और पीछे के हिस्से को छोड़ देता है। फिर यह अपने शरीर को छोटा करता है और पूरी प्रक्रिया को दोहराता है। केंचुए के शरीर के स्राव इसकी गति में मदद करते हैं।
प्रश्न (iii)
पक्षियों का शरीर उनकी किस तरह उड़ने में सहायता करता है?
उत्तर-
पक्षियों में धारा रेखीय शरीर, खोखली एवं हल्के वजन की हड्डियाँ से बना होता है। ये हड्डियाँ उड़ान के दौरान उनकी मदद करती हैं। पक्षी उड़ सकते हैं क्योंकि उनके धारा रेखीय शरीर उड़ने के अनुकूल होते हैं। हड्डियाँ खोखली तथा हल्की होती हैं और स्तन की हडियों को उड़ान की विशाल मांसपेशियों को धारण करने के लिए संशोधित किया जाता है जो पंखों को ऊपर और नीचे ले जाने के लिए उपयोग की जाती हैं। पक्षियों की पूंछ उड़ान के दौरान दिशा तय करती है।
7. निबंधात्मक प्रश्न
प्रश्न (i)
शरीर में विद्यमान अलग-अलग प्रकार के जोड़ों के बारे में व्याख्या करें।
उत्तर-
जोड़ अथवा संधि – वह बिंदु जहाँ दो हड्डियाँ मिलती हैं, जोड़ अथवा संधि कहलाती है।
जोड़ अथवा संधियाँ दो प्रकार की होती हैं-
(1) स्थिर जोड़ अथवा संधि या अचल जोड़ अथवा संधि – जिन जोड़ों अथवा संधियों में हड्डियों अथवा अस्थियों
का हिलना-डुलना संभव नहीं होता, उन्हें स्थिर या अचल जोड़ अथवा संधि कहते हैं। उदाहरण के लिए, ऊपरी जबड़े का जोड़ स्थिर अथला अचल होता है। खोपड़ी में मौजूद जोड़ अथवा संधियाँ स्थिर जोड़ अथवा संधियाँ होती हैं।
(2) गतिशील जोड़ अथवा संधि – जिन जोड़ों अथवा संधियों में हड्डियों की गति संभव होती है उन्हें गतिशील जोड़
अथवा संधि कहा जाता है।
ये चार प्रकार के होते हैं-
(1) कंदुक खल्लिका जोड़ या संधि (बॉल और सॉकेट जोड़ या संधि) – इस जोड़ या संधि में एक हड्डी का
गोलाकार सिरा दूसरी हड्डी की गुहा जैसी सॉकेट में फिट हो जाता है। यह जोड़ या संधि सभी दिशाओं में हड्डियों की गति की अनुमति देता है। हाथ और कंधे के बीच का जोड़ या संधि इस प्रकार के जोड़ या संधि का एक उदाहरण है।
(2) धुराग्र जोड़ – इस प्रकार के जोड़ में, एक बेलनाकार हड्डी या अस्थि एक रिंग प्रकार की हड्डी या अस्थि में बदल जाती है। बेलन की हड्डी या अस्थि रिंग के अंदर घूमती है या रिंग बेलन के बाहर घूमती है। खोपड़ी और कशेरुक स्तंभ के बीच का जोड़ या संधि धुराग्र जोड़ या संधि का एक उदाहरण है। यह सिर को पीछे, आगे, बाएँ और दाएँ घुमाने की अनुमति देता है।
(3) हिंज जोड़ या संधि – यह जोड़ या संधि दरवाजे में लगे कबजे जैसा है। यह केवल एक दिशा में यानी ऊपर और नीचे या आगे और पीछे हड्डियों या अस्थियों की गति की अनुमति देता है। घुटने का जोड़ या संधि और कोहनी का जोड़ या संधि हिंज जोड़ों या संधियों के उदाहरण हैं।
(4) गतिशील जोड़ – यह जोड़ हड्डियों या अस्थियों को एक-दूसरे के ऊपर सरकने की अनुमति देता है, जिससे सभी दिशाओं में केवल थोड़ी सी गति होती है। गतिशील जोड़ों या संधियों के उदाहरण टखने की हड्डियों या अस्थियों और कलाई की हड्डियों या अस्थियों के बीच के जोड़ या संधियाँ हैं।
प्रश्न (ii)
मछली में चालन कैसे होता है? व्याख्या करें।
उत्तर-
मछलियों में धारा रेखीय शरीर होता है जिसमें मछली की पूंछ और सिर शरीर के मध्य भाग से छोटे होते हैं। मछलियों में कुछ विशेष संरचनाएँ भी होती हैं जिन्हें पंख कहते हैं जो एक स्थान से दूसरे स्थान तक जाने में सहायता करती हैं। तैरते समय, शरीर का अगला भाग एक तरफ झुक जाता है और पूंछ का हिस्सा विपरीत दिशा में रहता है। इस प्रकार एक लूप बनता है। मछलियाँ ऐसे लूप बनाकर नियमित झटके पैदा करती हैं और शरीर को आगे की ओर धकेलती हैं। पंख तैरते समय संतुलन बनाए रखने और दिशा बदलने में मदद करते हैं।
Science Guide for Class 6 PSEB शरीर मे गति Intext Questions and Answers
सोचें और उत्तर दें (पेज 77)
प्रश्न 1.
रीढ़ की हड्डी में विद्यमान छोटी हड्डियों को क्या कहते हैं?
उत्तर-
रीढ़ की हड्डी में विद्यमान छोटी हड्डियों को कशेरुका कहा जाता है।
प्रश्न 2.
छाती को स्पर्श करके महसूस हुए हड्डियों जैसे उभरे भाग को क्या कहते हैं।
उत्तर-
पसलियाँ हड्डियों की तरह लकीरें हैं जो हमें अपने छाती क्षेत्र को छूने पर महसूस होती हैं।
सोचें और उत्तर दें ( पेज 78)
प्रश्न 1.
क्या आप अपनी बाजू को लकड़ी के फट्टे से बांधने के बाद अपनी कोहनी मोड़ सकते हैं ?
उत्तर-
नहीं, बंधे हए हिस्से हिल नहीं पा रहे हैं और हम अपनी कोहनी मोड़ नहीं पा रहे हैं। इससे हम यह निष्कर्ष निकाल सकते हैं कि हम एक भी हड्डी नहीं मोड़ सकते। इसका मतलब है कि हम अपने शरीर को केवल उन जोड़ों पर मोड़ सकते हैं जहां हड्डियाँआपस में मिलती हैं।
प्रश्न 2.
वे कौन-से स्थान हैं, जहाँ शरीर के दो भाग एक दूसरे से जुड़े हुए दिखाई देते हैं ?
उत्तर-
जोड़।
सोचें और उत्तर दें (पेज 80)
प्रश्न 1.
आप अपनी बाजूओं को कंधों से हिलाएं। क्या आप इसे अलग-अलग दिशाओं में घुमा सकते हैं? यदि हाँ, तो इस जोड़ का नाम बताएँ।
उत्तर-
हाँ, मैं अपनी भुजा को सभी दिशाओं में घुमाने में सक्षम हूँ। हाथ और कंधे के बीच मौजूद जोड़ अथवा संधि को बॉल और सॉकेट जोड़ या संधि या कंदुक खल्लिका जोड़ या संधि होता है।
प्रश्न 2.
आप अपनी बाजू को कोहनी से हिलाएं। क्या आप इसे अलग-अलग दिशाओं में घुमा सकते हैं? यदि हाँ, तो इस जोड़ का नाम बताएं।
उत्तर-
नहीं, कोहनी पर, मैं अपना हाथ सभी दिशाओं में नहीं चला पा रहा हूँ। हाथ को केवल आगे-पीछे किया जा सकता है। यहां मौजूद जोड़ हिंज जोड़ या संधि है।
PSEB Solutions for Class 6 Science शरीर मे गति Important Questions and Answers
1. बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न (i)
शरीर में स्वतः निरंतर होने वाली गति है।
(क) पलकों का झपकना
(ख) पीछे मुड़कर देखना
(ग) चलना
(घ) खाना खाना।
उत्तर-
(क) पलकों का झपकना।
प्रश्न (ii)
एक स्थान से दूसरे स्थान तक जाने के कई ढंग हैं। यह गति का रूप है। इसके उदाहरण हैं।
(क) कूदना
(ख) तैरना
(ग) उड़ना
(घ) सभी विकल्प।
उत्तर-
(घ) सभी विकल्प।
प्रश्न (iii)
जंतुओं की गति …………………….. होती है।
(क) समान
(ख) असमान
(ग) दुगुनी
(घ) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर-
(ख) असमान।
प्रश्न (iv)
उस जंतु का नाम बताओ जो पृथ्वी पर नहीं रेंगता।
(क) जुं
(ख) छिपकली
(ग) कौआ
(घ) साँप।
उत्तर-
(ग) कौआ।
प्रश्न (v)
घेघे का बाह्य शरीर ………………….. का बना होता है।
(क) हड्डियों
(ख) मांसपेशियों का
(ग) दोनों का
(घ) किसी का नहीं।
उत्तर-
(ख) मांसपेशियों का।
प्रश्न (vi)
एक मछली पानी में ………………….. की सहायता से तैरती है।
(क) पूंछ
(ख) शल्कों
(ग) मीन पंख
(घ) आकृति।
उत्तर-
(ग) मीन पंख।
प्रश्न (vii)
एक साँप का मेरुदंड ……………………… होता है।
(क) छोटा
(ख) लंबा
(ग) नहीं
(घ) बहुत छोटा।
उत्तर-
(ख) लंबा।
प्रश्न (viii)
मछली के पंख तैरने के अलावा ……………………… बनाए रखने में सहायता करते हैं।
(क) संतुलन
(ख) असंतुलन
(ग) सीधे तैरने में
(घ) कुछ नहीं करते।
उत्तर-
(क) संतुलन।
प्रश्न (ix)
पक्षियों की हड्डियाँ ……………………. होती हैं।
(क) भारी
(ख) हल्की
(ग) पक्षियों की हड्डियाँ होती ही नहीं
(घ) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर-
(ख) हल्की ।
प्रश्न (x)
तिलचट्टे के कितने जोड़े पैर होते हैं ?
(क) एक
(ख) दो
(ग) तीन
(घ) चार।
उत्तर-
(ग) तीन।
प्रश्न (xi)
…………………. के वृक्ष से दो जोड़े पंख जुड़े होते हैं।
(क) मच्छर
(ख) तिलचट्टा
(ग) घास का कीड़ा
(घ) तितली।
उत्तर-
(ख) तिलचट्टा।
प्रश्न (xii)
मानव शरीर में स्थिर जोड़ (संधि) का उदाहरण है।
(क) घुटना
(ख) कोहनी
(ग) पिंजर
(घ) सभी विकल्प।
उत्तर-
(ग) पिंजर ।
2. खाली स्थान भरें
(i) हड्डियों के जोड़ शरीर को…………………… में सहाई होते हैं।
उत्तर-
गती
(ii) हड्डियाँ और उपस्थियाँ संयुक्त रूप में शरीर का ……………………… बनाते हैं।
उत्तर-
कंकाल (पिंजर)
(iii) कोहनी की हड्डियाँ ………………………. जोड़ द्वारा जुड़ी होती हैं।
उत्तर-
हिंज
(iv) गती करते समय ……………………. के सिकुड़ने से हड्डियाँ खिंचती हैं।
उत्तर-
पेशियां
(v) ……………………. जिगर के नीचे वाले अंगों की रक्षा करता है।
उत्तर-
पैलविक हड्डियाँ
(vi) …………………. में शरीर, सिर और पिछली तरफ से पतला और नुकीला होता है।
उत्तर-
धारा रेखी
(vii) हड्डियों के ढांचे को ……………………… कहते हैं।
उत्तर-
कंकाल
(viii) गरदन और सिर के जोड़ को ……………………….. कहते हैं।
उत्तर-
केंद्री जोड़
(ix) हड्डियों की गती के लिए …………………….. की जरूरत होती है।
उत्तर-
मांसपेशियाँ
(x) मनुष्य के शरीर में हड्डियाँ और ………………….. होती हैं।
उत्तर-
उपस्थियां।
3. सही या ग़लत चुनें
(i) भौतिक बदलाव विपरित योग्य होते हैं।
उत्तर-
ग़लत
(ii) सभी जंतुओं की गती तथा चाल एक सामान्य बिल्कुल नहीं होती।
उत्तर-
ग़लत
(iii) पसली हड्डी के मुकाबले अधिक मज़बूत होती है।
उत्तर-
ग़लत
(iv) ऊँगलिओं की हड्डियों में जोड़ नहीं होता।
उत्तर-
ग़लत
(v) बाजू के अगले हिस्से में दो हड्डियाँ होती हैं।
उत्तर-
सही
(vi) कॉकरोच में बाहरी पिंजर होता है।
उत्तर-
सही
(vii) सभी जीवों का शरीर धारा रेखा होता है।
उत्तर-
ग़लत
(viii) हमारी कोहणी में दो कब्जा जोड़ होते हैं।
उत्तर-
सही
(ix) जीवों के एक जगह से दूसरी जगह जाने को गती कहते हैं।
उत्तर-
ग़लत
(x) पैलविक हड्डियाँ कूल्हे की हड्डियाँ होती हैं।
उत्तर-
सही
(xi) मछली वकर बनाकर शरीर को नहीं मोड़ती।
उत्तर-
ग़लत
4. कॉलम ‘क’ का ‘ख’ से उचित मिलान करें
कॉलम ‘क’ | कॉलम ‘ख’ |
(i) हिंज संधि | (a) खोखली और हल्की |
(ii) बॉल एवं सॉकेट संधि | (b) पसली पिंजर |
(iii) पक्षीयों की अस्थियाँ | (c) कोहनी का जोड़ |
(iv) तिलचट्टा | (d) हाथ और कंधे के बीच का जोड़ |
(v) स्थिर जोड़। | (e) तीन जोड़ी पैर |
उत्तर-
कॉलम ‘क’ | कॉलम ‘ख’ |
(i) हिंज संधि | (c) कोहनी का जोड़ |
(ii) बॉल एवं सॉकेट संधि | (d) हाथ और कंधे के बीच का जोड़ |
(iii) पक्षीयों की अस्थियाँ | (a) खोखली और हल्की |
(iv) तिलचट्टा | (e) तीन जोड़ी पैर |
(v) स्थिर जोड़। | (b) पसली पिंजर |
5. अति लघूत्तर प्रश्न
प्रश्न 1.
गति किसे कहते हैं?
उत्तर-
गति – शरीर का एक स्थान से दूसरे स्थान पर जाना गति अथवा गमन कहलाता है।
प्रश्न 2.
जंतु एक स्थान से दूसरे स्थान तक कैसे गमन करते हैं ?
उत्तर-
जंतु एक स्थान से दूसरे स्थान तक गमन अंग अथवा शरीर के किसी भाग से गति करते हैं।
प्रश्न 3.
आपके शरीर का कौन-सा अंग पूर्णतः घूम सकता है ?
उत्तर-
भुजा, टांग।
प्रश्न 4.
आपके शरीर के कौन-से अंग आंशिक घूमते/मुड़ते हैं?
उत्तर-
गर्दन, कलाई, उँगुलियां, घुटने, सिर, कोहनी।
प्रश्न 5.
अस्थियाँ क्या हैं? . .
उत्तर-
अस्थियाँ – अस्थियाँ शरीर का कठोरतम भाग हैं जो शरीर को आकार प्रदान करती हैं। हमारे शरीर के प्रत्येक भाग में अनेक अस्थियां हैं।
प्रश्न 6.
हमारे शरीर की विभिन्न प्रकार की गतियां कैसे होती हैं ?
उत्तर-
विभिन्न प्रकार की संधियां हमारे शरीर में विभिन्न प्रकार की गतियां करने में सहायता करती हैं।
प्रश्न 7.
संधि किसे कहते हैं?
उत्तर-
संधि – शरीर के कई भाग जो गति करते हैं, उनकी अस्थियां विशेष प्रकार के जोड़ से जुड़ी होती हैं जिसे संधि कहते हैं।
प्रश्न 8.
हमारे शरीर के किन भागों में संधि होती है?
उत्तर-
कोहनी, कंधा, गर्दन और घुटने में प्रायः संधि होती है।
प्रश्न 9.
हमारे शरीर में मुख्यतः कितनी प्रकार की संधियां हैं?
उत्तर-
संधियों की किस्में – कंदुक खल्लिका संधि, धुराग्र संधि, हिंज संधि, अचल संधि।
प्रश्न 10.
कुंदक खल्लिका संधि कहाँ होती है?
उत्तर-
कुंदक खलिल्का संधि, कुल्हे और कंधे में होती है।
प्रश्न 11.
हिंज संधि कहाँ होती है?
उत्तर-
घुटने और कोहनी में हिंज संधि होती है।
प्रश्न 12.
धुराग्र संधि कहाँ होती है?
उत्तर-
गर्दन और सिर के मध्य धुराग्र संधि होती है।
प्रश्न 13.
धुरान संधि में कौन-सी अस्थि एक छल्ले में घूमती है?
उत्तर-
धुराग्र संधि में बेलनाकार अस्थि एक छल्ले में घूमती है।
प्रश्न 14.
अचल संधि कहाँ होती है?
उत्तर-
ऊपरी जबड़े एवं कपाल के मध्य अचल संधि होती है।
प्रश्न 15.
अस्थि पिंजर किसे कहते हैं?
उत्तर-
अस्थि पिंजर – शरीर में अस्थि ढाँचे को अस्थि पिंजर कहते हैं।
प्रश्न 16.
अस्थियों का क्या कार्य है?
उत्तर-
अस्थियां हमारे शरीर को आकृति प्रदान करती हैं।
प्रश्न 17.
पसलियाँ किसे कहते हैं ?
उत्तर-
पसलियाँ – वक्ष में पाई जाने वाली बारीक अस्थियों को पसलियाँ कहते हैं।
प्रश्न 18.
पसली पिंजर किसे कहते हैं?
उत्तर-
पसली पिंजर – पसलियाँ वक्ष के भाग में मेरुदंड से जुड़कर एक बक्सा बनाती हैं जिसे पसली पिंजर कहते हैं।
प्रश्न 19.
पसली पिंजर का क्या कार्य है?
उत्तर-
पसली पिंजर शरीर के महत्त्वपूर्ण अंगों जैसे हृदय, फेफड़े आदि की रक्षा करता है।
प्रश्न 20.
हमारे पसली पिंजर में कौन-से अंग सुरक्षित होते हैं?
उत्तर-
हमारे पसली पिंजर में फेफड़े और हृदय सुरक्षित होते हैं।
प्रश्न 21.
मेरुदंड का क्या कार्य है?
उत्तर-
मेरुदंड हमारे शरीर को सीधा खड़े होने में सहायता देता है।
प्रश्न 22.
पेशी किसे कहते हैं?
उत्तर-
पेशी – पेशी एक प्रकार का ऊतक है जो अंगों को गति करने में सहायता करता है।
प्रश्न 23.
चार जंतुओं के नाम लिखिए जिनमें अस्थियाँ नहीं पाई जाती हैं।
उत्तर-
केंचुआ, घोंघा, तिलचट्टा और जौंक।
प्रश्न 24.
घोंघा किसकी सहायता से पति करता है?
उत्तर-
घोंघा एक मोटी माँसल संरचना की सहायता से गेति करता है।
प्रश्न 25.
पक्षी क्यों उड़ सकते हैं?
उत्तर-
पक्षियों का शरीर उड़ने के लिए अनुकूलित होता है उसकी अस्थियों में वायु प्रकोष्ठ होते हैं, जिनसे वे हल्की होती हैं।
6. लघूत्तर प्रश्न
प्रश्न 1.
जंतु एक स्थान से दूसरे स्थान तक किस प्रकार गमन करते हैं?
उत्तर-
जंतु एक स्थान से दूसरे स्थान तक निम्नलिखित विधियों से गमन करते हैं-चलना, टहलना, दौड़ना, उड़ना, छलाँग मारना, रेंगना एवं तैरना इत्यादि।
प्रश्न 2.
हम शरीर के किन अंगों को स्वतंत्र रूप से किसी भी दिशा में घमा सकते हैं और क्यों?
उत्तर-
हम भुजा, टाँग, घुटने, सिर और कोहनी को किसी भी दिशा में स्वतंत्र घुमा सकते हैं। क्योंकि इन भागों में संधि (जोड़) होती है जिससे यह भाग आसानी से घूम सकते हैं।
प्रश्न 3.
हम शरीर के किन अंगों को अंशत: घुमा सकते हैं ?
उत्तर-
हम उँगुलियों, पादागुली, एड़ी, गर्दन और पीठ आदि को अंशत: घुमा सकते हैं।
प्रश्न 4.
हम शरीर के विभिन्न भागों को कहां तक घुमा सकते हैं?
उत्तर-
हम शरीर के विभिन्न भागों को उसी स्थान तक घुमा सकते हैं, जहाँ पर दो हिस्से एक दूसरे से जुड़े हों, जैसे-कोहनी, कंधा और गर्दन।
प्रश्न 5.
संधि किसे कहते हैं ? संधि का क्या लाभ है?
उत्तर-
संधि – जहाँ दो अस्थियाँ अथवा भाग एक-दूसरे से जुड़े होते हैं उन्हें संधि कहते हैं।
संधि के लाभ – संधि के कारण हम शरीर के विभिन्न भागों में गति कर सकते हैं। यदि संधियां नहीं होती तो हमारे अंग पूर्णत: गति नहीं कर सकते थे।
प्रश्न 6.
कंदुक-खल्लिका संधि के विषय में बताओ।
उत्तर-
कंदुक-खल्लिका संधि – कंदुक-खल्लिका संधि कंधे और कूल्हे में होती है। इस संधि में एक अस्थि का गेंद वाला गोल हिस्सा दूसरी अस्थि के कटोरी रूपी गर्त में धंसा होता है। इस प्रकार की संधि सभी दिशाओं में गति प्रदान करती है।
प्रश्न 7.
धुराग्र संधि के बारे में बताओ।
उत्तर-
धुराग्र संधि – गर्दन और सिर को जोड़ने वाली संधि धुराग्र-संधि है। इसके द्वारा सिर को आगे, पीछे या दाएँ एवं बाएँ घुमा सकते हैं। धुराग्र संधि में बेलनाकार अस्थि एक छल्ले में घूमती है।
प्रश्न 8.
हिंज संधि क्या है? उदाहरण दीजिए।
उत्तर-
हिंज संधि – हमारे घुटने और कोहनी में हिंज संधि होती है। हिंज संधि घर के दरवाज़े के कब्जे जैसे होती है जिससे हम एक ही दिशा में अंग की गति कर सकते हैं। इसमें केवल आगे और पीछे एक ही दिशा में गति हो सकती है।
प्रश्न 9.
अचल संधि के विषय में लिखो।
उत्तर-
अचल संधि-हमारे सिर में कुछ अस्थियाँ होती हैं जो संधि द्वारा एक-दूसरे से जुड़ी रहती हैं। ये अस्थियाँ इन संधियों पर हिल नहीं सकतीं। ऐसी संधियों को अचल संधि कहते हैं। ऊपर जबड़े एवं कपाल के मध्य अचल संधि होती है।
प्रश्न 10.
निम्नलिखित संधियों की एक-एक उदाहरण दीजिए-
अचल संधि, हिंज संधि, धुराग्र संधि और कंदुक-खल्लिका संधि।
उत्तर-
संधि का नाम | उदाहरण |
(i) अचल संधि | ऊपरी जबड़े एवं कपाल में |
(ii) हिंज संधि | घुटने एवं कोहनी में |
(iii) धुराग्र संधि | गर्दन और सिर में |
(iv) कंदुक खल्लिका संधि | कंधे और कूल्हे में |
प्रश्न 11.
अस्थिपिंजर किसे कहते हैं ? इसका क्या कार्य है?
उत्तर-
अस्थिपिंजर – हमारे शरीर की सभी अस्थियाँ एक ढाँचा बनाती हैं। इन अस्थियों के ढाँचे को अस्थिपिंजर कहते हैं।
अस्थिपिंजर का कार्य – यह हमारे शरीर को आकृति प्रदान करता है और विभिन्न अंगों को गति करने में सहायता करता है।
प्रश्न 12.
यदि किसी व्यक्ति की कोई अस्थि को क्षति हो जाए तो उसका कैसे पता लगाया जा सकता है?
उत्तर-
यदि किसी व्यक्ति की कोई अस्थि को क्षति हो जाए तो उसका पता लगाने के लिए उसका एक्स-रे करवाया जाता है।
प्रश्न 13.
हाथ की अस्थियों का चित्र बनाए।
उत्तर-
हाथ की अस्थियाँ-
प्रश्न 14.
हिंज-संधि का चित्र बनाए।
उत्तर-
हिंज-संधि का चित्र-
प्रश्न 15.
पसली पिंजर क्या है ? इनका क्या कार्य है ?
उत्तर-
पसली पिंजर – वक्ष की अस्थियाँ जिन्हें पसलियाँ कहते हैं वे मेरुदंड (रीढ़ की अस्थि) से जुड़कर एक बक्से की रचना करती हैं उसे पसली पिंजर कहते हैं।
पसली पिंजर का कार्य – पसली पिंजर शरीर के कोमल अंगों जैसे फेफड़े और हृदय की रक्षा करता है।
प्रश्न 16.
मेरुदंड किसे कहते हैं ? इसका क्या कार्य है?
उत्तर-
मेरुदंड – मेरुदंड छोटी-छोटी अस्थियों की लड़ी है जो गर्दन से शुरू होकर कुल्हे की अस्थि तक जाती है। पीठ के मध्य जो सख्त भाग है वह मेरुदंड है।
कार्य – यह शरीर को सहारा और मज़बूती देती है। यह हमें सीधा खड़े रहने में सहायता करती है।
प्रश्न 17.
कंधे में कितनी अस्थियाँ होती हैं ? कंधे में कौन-सी संधि होती है ?
उत्तर-
कंधे में दो मुख्य अस्थियाँ होती हैं जिन्हें कंधे की अस्थियाँ कहते हैं। कंधे में कंदुक खल्लिका संधि होती है जो बाजु को सभी दिशाओं में घुमाने में सहायता करती है।
प्रश्न 18.
श्रोणि अस्थियाँ किसे कहते हैं ? इनका क्या कार्य है ?
उत्तर-
श्रोणि अस्थियाँ – कुल्हे की अस्थियों को श्रोणि अस्थियाँ कहते हैं। यह एक बॉक्स के समान ऐसी संरचना बनाती हैं जो हमारे आमाशय के नीचे पाए जाने वाले विभिन्न अंगों की रक्षा करती है।
प्रश्न 19.
खोपड़ी में कितनी अस्थियाँ होती हैं ? खोपड़ी का मुख्य कार्य क्या है ?
उत्तर-
हमारी खोपड़ी अनेक अस्थियों के एक दूसरे से जुड़ने से बनती है। खोपड़ी हमारा एक महत्त्वपूर्ण अंग है। यह मस्तिष्क को परिबद्ध करके उसकी सुरक्षा करती है।
प्रश्न 20.
अस्थि और उपास्थि में क्या अंतर है ?
उत्तर-
अस्थि – शरीर का सबसे कठोर भाग है जो हमारे शरीर/अंग को आकृति प्रदान करता है।
उपास्थि – यह अस्थि से नर्म होती है। यह भी अंग को आकृति प्रदान करती है, परंतु इसको मोड़ा जा सकता है।
प्रश्न 21.
पेशी क्या होती है ? यह किसी अस्थि को कैसे गति में लाती है ?
उत्तर-
पेशी – पेशी एक प्रकार की ऊतक है जो अस्थि से जुड़ी होती है। यह अस्थि को गति में लाती है। यह संकुचित और शिथिल होकर अस्थि में गति लाती है।
प्रश्न 22.
केंचुए को गति करने में कौन सहायता करता है ?
उत्तर-
केंचुए के शरीर में अस्थियाँ नहीं होतीं। परंतु इसमें पेशियाँ होती हैं जो इसके शरीर के घटने और बढ़ने में सहायता करती हैं। केंचुए के अध-सतह पर बाल जैसी बहुत-सी सूक्ष्म संरचनाएं होती हैं जिसे शूक कहते हैं। यह शूक शरीर में पेशियों से जुड़े होते हैं तथा केंचुए को भूमि पर अपनी पकड़ बनाने में सहायता करते हैं।
प्रश्न 23.
केंचुआ गति कैसे करता है? ।
उत्तर-
केंचुए में गति – केंचुए में शूक शरीर में पेशियों से जुड़े होते हैं तथा केंचुए को भूमि पर अपनी पकड़ बनाने में सहायता करते हैं। चलन के दौरान केंचुआ अपने शरीर के पश्च भाग को भूमि में जकड़े रहता है तथा अग्र भाग को फैलाता है। इसके बाद वह अग्र भाग से भूमि को पकड़ता है तथा पश्च भाग को स्वतंत्र कर देता है। इसके पश्चात् यह शरीर को संकुचित करता | है तथा पश्च भाग को आगे की ओर खींचता है। इसके शरीर से एक अवंपकी पदार्थ स्रावित होता है जो चलने में सहायता करता है। केंचुआ इस प्रक्रिया की बार-बार पुनरावृत्ति करते हुए मिट्टी पर आगे बढ़ता है। इसके शरीर में चिकने पदार्थ होते हैं जो इसे चलने में सहायता करते हैं। यह अपने शरीर के हिस्से को ज़मीन से किस प्रकार टिकाता है। इसके शरीर में छोटे-छोटे अनेक शूक उसकी पकड़ को मज़बूत बनाते हैं।
प्रश्न 24.
घोंघा कैसे गति करते है ? .
उत्तर-
घोंघा एक अस्थि रहित प्राणी है। इसकी पीठ पर एक कवच होता है जिसे बाहय कंकाल कहते हैं। इस बाह्य कंकाल के अंदर एक मोटी मासल होती है, जो इसका पाद (पैर) है। यह माँसल दृढ़ पेशियों का बना होता है। जो इसको गति करने में सहायता करता है।
प्रश्न 25.
पक्षी कैसे गति करते हैं ?
उत्तर-
पक्षी इसलिए उड़ पाते हैं क्योंकि उनका शरीर उड़ने के लिए अनुकूलित होता है। उनकी अस्थियों में वायु प्रकोष्ठ होते हैं जिनके कारण उनकी अस्थियाँ हल्की परंतु मज़बूत रहती हैं। अग्रपाद की अस्थियाँ रूपांतरित होकर पक्षी के पंख बनाती हैं। कंधे की अस्थियाँ मज़बूत होती हैं। वक्ष की अस्थियाँ उड़ने वाली पेशियों को जकड़े रखने के लिए विशेष रूप से रूपांतरित होती हैं तथा पंखों को ऊपर-नीचे करने में सहायक होती हैं।
प्रश्न 26.
साँप कैसे चलता है?
उत्तर-
साँप में गति – साँप भूमि पर फिसल कर रेंग कर चलता है। साँप का मेरुदंड लंबा होता है। शरीर की पेशियां क्षीण एवं मांसल होती हैं। वे परस्पर जुड़ी होती हैं। साँप का शरीर अनेक वलय में मुड़ा होता है। इसी प्रकार साँप का प्रत्येक वलय उसे आगे की ओर धकेलता है। इसका शरीर अनेक वलय बनाता है और प्रत्येक बल आगे को धक्का देता है। इस कारण साँप बहुत तेज़ गति से आगे की ओर चलता है।
7. निबंधात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
मछली जल में कैसे गति करती है ? संक्षेप में वर्णन करिए।
उत्तर-
मछली का शरीर धारा रेखीय होता है। इसकी विशेष आकृति के कारण जल इधर-उधर बहकर निकल जाता है और मछली जल में सरलता से तैर सकती है।
मछली का कंकाल दृढ़ पेशियों से ढका रहता है। तैरने की प्रक्रिया में शरीर का अग्रभाग एक ओर मुड़ जाता है तथा पूंछ विपरीत दिशा में जाती है। मछली शरीर को एक दिशा में मोड़ती है तो तीव्रता से उसकी पूँछ दूसरी दिशा में मुड़ जाती है। इससे एक झटका सा लगता है और मछली आगे की ओर चली जाती है। इस चित्र-मछली में चलन प्रकार के क्रमिक ताल से मछली आगे की ओर तैरती रहती है। पूँछ के पंख इस कार्य में उसकी सहायता करते हैं।
मछली के शरीर पर और भी पंख होते हैं जो तैरते समय जल में संतुलन बनाए रखने एवं दिशा निर्धारण करने में सहायता करते हैं। गोताखोर भी अपने पैरों में इन पंखों की तरह के विशेष अरित्र (flipper) पहनते हैं जो उन्हें जल में तैरने में सहायता करते हैं।
प्रश्न 2.
तिलचट्टा ज़मीन पर कैसे गति करता है और वायु में उड़ता है ?
उत्तर-
तिलचट्टा ज़मीन पर चलता है, दीवार पर चढ़ता है और वायु में उड़ता भी है। इनमें तीन जोड़ी पैर होते हैं। यह चलने में सहायता करते हैं। इसका शरीर कठोर बाह्य कंकाल द्वारा ढका होता है। यह बाह्य कंकाल विभिन्न एककों की परस्पर संधियों द्वारा बनता है जिसके कारण गति संभव हो पाती है।
वक्ष से दो जोड़े पर भी जुड़े होते हैं। अग्र-पर संकरे एवं पिछले-पर चौड़े एवं बहुत पतले होते हैं। तिलचट्टा में विशिष्ट पेशियाँ होती हैं। पैर की पेशियाँ उन्हें चलने में सहायता करती हैं। वक्ष की पेशियाँ तिलचट्टे के उड़ने के समय उसके परों को गति देती हैं।
प्रश्न 3.
किसी अस्थि को गति प्रदान करने के लिए दो पेशियाँ कैसे कार्य करती हैं ? वर्णन कीजिए।
उत्तर-
किसी अस्थि को गति प्रदान करने के लिए दो पेशियों को संयुक्त रूप से कार्य करना होता है। जब दो पेशियों में से कोई एक सिकुड़ती है तो अस्थि उस दिशा में खिंच जाती है। युगल की दूसरी पेशी शिथिल (लंबाई में बढ़कर पतली हो जाती है) अवस्था में आ जाती है। अस्थि को विपरीत दिशा में गति करने के लिए अब शिथिल पेशी सिकुड़कर अस्थि को अपनी पूर्व स्थिति में खींचती है, जबकि पहली पेशी अब शिथिल हो जाती है। पेशी केवल खींच सकती है, वह धक्का नहीं दे सकती। अतः एक अस्थि को गति देने के लिए दो पेशियों को संयुक्त रूप से कार्य करना आवश्यक होता है।