PSEB 12th Class History Notes Chapter 3 16वीं शताब्दी के आरंभ में पंजाब की राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक दशा

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PSEB 12th Class History Notes Chapter 3 16वीं शताब्दी के आरंभ में पंजाब की राजनीतिक, सामाजिक और आर्थिक दशा

→ राजनीतिक दशा (Political Condition): 16वीं शताब्दी के आरंभ में पंजाब की राजनीतिक दशा बड़ी दयनीय थी-पंजाब दिल्ली सल्तनत के अधीन था जिस पर लोधी सुल्तानों का शासन था

→ 1469 ई० में दिल्ली सुल्तान बहलोल लोधी ने ततार खाँ लोधी को पंजाब का गवर्नर नियुक्त कियाततार खाँ लोधी सुल्तान के खिलाफ किए गए असफल विद्रोह में मारा गया

→ 1500 ई० में एक नए लोधी सुल्तान सिकंदर लोधी ने दौलत खाँ लोधी को पंजाब का गवर्नर नियुक्त किया- इब्राहीम लोधी के नए सुल्तान बनते ही दौलत खाँ लोधी ने उसके विरुद्ध षड्यंत्र रचने आरंभ कर दिए

→ दौलत खाँ ने बाबर को भारत पर आक्रमण करने का निमंत्रण दिया-बाबर ने 1519 ई० से 1526 ई० तक पंजाब पर पाँच आक्रमण किए

→ अपने पाँचवें आक्रमण के दौरान बाबर ने दौलत खाँ लोधी को हरा कर पंजाब पर अधिकार कर लिया-21 अप्रैल, 1526 ई० को पानीपत की पहली लड़ाई में बाबर ने इब्राहिम लोधी को परास्त किया

→ परिणामस्वरूप पंजाब लोधी वंश के हाथों से निकल कर मुग़ल वंश के हाथों में चला गया।

→ सामाजिक दशा (Social Condition): 16वीं शताब्दी के आरंभ में पंजाब की सामाजिक दशा बड़ी ही दयनीय थी

→ समाज हिंदू और मुसलमान नामक दो मुख्य वर्गों में विभाजित था

→ शासक वर्ग से संबंधित होने के कारण मुसलमानों को विशेष अधिकार प्राप्त थे

→ मुस्लिम समाज उच्च, मध्य तथा निम्न वर्गों में विभाजित था

→ मुस्लिम स्त्रियों की दशा अच्छी नहीं थी

→ हिंदू बहुसंख्या में थे, परंतु उन्हें अधिकारों से वंचित रखा गया था-हिंदू समाज कई जातियों तथा उपजातियों में बँटा हुआ था–हिंदू स्त्रियों को पुरुषों के बराबर नहीं समझा जाता था

→ समाज का अमीर वर्ग स्वादिष्ट भोजन करता और बहुमूल्य वस्त्र पहनता था

→ निम्न वर्गों का भोजन और वस्त्र साधारण होते थे

→ उस समय शिकार, चौगान, जानवरों की लड़ाइयाँ, शतरंज, नृत्य, संगीत और ताश आदि मनोरंजन के साधन थे

→ शिक्षा मस्जिदों, मदरसों और मंदिरों में प्रदान की जाती थी।

→ आर्थिक दशा (Economic Condition): 16वीं शताब्दी के आरंभ में पंजाब की आर्थिक दशा बहुत अच्छी थी

→ पंजाब के लोगों का मुख्य व्यवसाय कृषि था

→ यहाँ की मुख्य फसलें गेहूँ, कपास, जौ, मकई और गन्ना थीं

→ फसलों की पर्याप्त उपज होती थी

→ लोगों का दूसरा मुख्य व्यवसाय उद्योग था

→ उद्योगों में वस्त्र उद्योग सर्वाधिक प्रसिद्ध था

→ चमड़ा, शस्त्र, बर्तन, हाथी दाँत और खिलौने आदि के उद्योग भी प्रचलित थे

→ पशु पालन का व्यवसाय भी किया जाता था

→ पंजाब का आंतरिक तथा विदेशी व्यापार बड़ा उन्नत था

→ विदेशी व्यापार अफ़गानिस्तान, ईरान, अरब, सीरिया, तिब्बत और चीन आदि देशों के साथ था

→ लाहौर और मुलतान पंजाब के दो सर्वाधिक प्रसिद्ध नगर थे

→ कम मूल्यों के कारण साधारण लोगों का निर्वाह भी सुगमता से हो जाता था।

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