Punjab State Board PSEB 12th Class Political Science Book Solutions Chapter 3 राजनीतिक संस्कृति Textbook Exercise Questions and Answers.
PSEB Solutions for Class 12 Political Science Chapter 3 राजनीतिक संस्कृति
दीर्घ उत्तरीय प्रश्न-
प्रश्न 1.
राजनीतिक संस्कृति की परिभाषा कीजिए। राजनीतिक संस्कृति की विशेषताओं और तत्त्वों का वर्णन करें।
(Define Political Culture. Discuss the characteristics and components of Political Culture.)
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति आधुनिक राजनीति विज्ञान का एक नवीन महत्त्वपूर्ण दृष्टिकोण है। राजनीतिक संस्कृति का दृष्टिकोण मनोविज्ञान और समाज शास्त्र को एकीकृत करने का प्रयास है ताकि आधुनिक मनोविज्ञान की क्रान्तिकारी खोजों तथा समाजशास्त्रों में आधुनिक प्रगति दोनों को गतिशील राजनीतिक विश्लेषण के लिए प्रयुक्त किया जा सके जिससे जन-समाजों के दृष्टिकोण को अपनाने में समग्रता हो। वास्तव में, राजनीतिक संस्कृति एक आधुनिक शब्दावली है जो इन अवधारणाओं और राष्ट्रीय राजनीति मनोविज्ञान तथा लोगों के आधारभूत मूल्यों से सम्बन्धित ज्ञान को अधिक व्यवस्थित रूप में रखने का प्रयास करती है। किसी समाज की राजनीतिक संस्कृति को परिभाषित करने में लोगों के सभी राजनीतिक भावों को लिया जाना आवश्यक नहीं है। राजनीतिक संस्कृति में केवल समीक्षात्मक किन्तु व्यापक रूप से प्रचलित विश्वासों और भावों को ही लिया जाता है जो अनुस्थापन के उन विशिष्ट रूपों का निर्माण कर सकें जो कि राजनीतिक प्रक्रिया को व्यवस्था और स्वरूप प्रदान करते हैं।
वास्तव में राजनीतिक संस्कृति समकालीन राजनीतिक विश्लेषण में एक महत्त्वपूर्ण विकास की द्योतक है क्योंकि यह उन प्रयत्नों को प्रस्तुत करती है जिनके द्वारा हम व्यक्तिगत मनोविज्ञान के लोगों को खोए बिना सम्पूर्ण राजनीतिक संस्कृति की अवधारणा सामाजिक और आर्थिक कारकों तथा राजनीतिक कार्यकलापों के बीच की कड़ियों की जांच करने का एक उपयुक्त आधार प्रस्तुत करती है। आलमण्ड और पावेल (Almond and Powell) ने राजनीतिक पद्धतियों की विविधतापूर्ण तुलना के लिए समाजशास्त्र और मानवशास्त्र के क्षेत्रों से ली गई धारणाओं को अनुकूल बनाया है। अतीत में राजनीतिक पद्धतियों की तुलना के लिए किए गए प्रयत्न कानूनी संस्थागत पहलुओं तक ही सीमित थे जिसको उसने तुलना के लिए लाभदायक नहीं माना। इसलिए आलमण्ड (Almond) राजनीतिक पद्धतियों का वर्गीकरण उनकी संरचनाओं और संस्कृति के आधार पर करता है।
राजनीतिक संस्कृति (Political Culture) शब्द का सबसे पहले प्रयोग गेबरील आलमण्ड (Gabriel Almond) ने 1956 में अपने एक लेख-Comparative Political System में किया था। यह लेख ‘जनरल ऑफ पोलिटिकल साईंस’ में छपा था। इस लेख में आलमण्ड ने लिखा-प्रत्येक राजनीतिक व्यवस्था में राजनीतिक क्रियाओं की एक विशिष्ट शैली अन्तर्निहित है। मैंने इसे ‘राजनीतिक संस्कृति’ नाम देना ही उपयुक्त समझा। आलमण्ड के पश्चात् पाई (Pye), सैम्युल बीयर (Samuel Beer), सिडनी वर्बा (Sidney Verba), डैनिश कावनाग (Dennis Kavanagh) इत्यादि अन्य अमेरिकन विद्वानों ने भी इस धारणा की विस्तृत व्याख्या की है।
राजनीतिक संस्कृति का अर्थ (Meaning of Political Culture)-राजनीतिक संस्कृति का अर्थ जानने से पहले संस्कृति’ शब्द का अर्थ जानना अति आवश्यक है। किसी देश के साहित्य और संगीत की, परम्पराओं और आस्थाओं की, कला और कौशल की मिली-जुली निरन्तर बहने वाली धारा को उस देश की संस्कृति कहते हैं। टेलर (Tayler) के अनुसार, “संस्कृति में, समाज के एक सदस्य होने के नाते, मनुष्य द्वारा अर्जित ज्ञान, विश्वास, कला, आचार, कानून, प्रथाएं तथा दूसरी क्षमताएं शामिल होती हैं।” ग्राहम वालास (Graham Wallas) के मतानुसार, ‘संस्कृति विचारों, मूल्यों और उद्देश्यों का समूह है। यह सामाजिक उत्तराधिकार है जो प्रशिक्षण द्वारा हमें पिछली पीढ़ियों से प्राप्त हुआ है। यह जीव सम्बन्धी उत्तराधिकार से पृथक् है जो कीटाणुओं द्वारा स्वयं हमारे पास आया है।”
जिस प्रकार प्रत्येक देश की एक संस्कृति होती है, उसी प्रकार प्रत्येक देश की एक राजनीतिक संस्कृति भी होती है। किसी देश के राजनीतिक चरित्र और आदतों की, राजनीतिक सूझ-बूझ और व्यवहार की, राजनीतिक संस्थाओं और उनकी कार्य पद्धति की मिली-जुली धारा को उस समाज की राजनीतिक संस्कृति कहते हैं। राजनीतिक संस्कृति की अवधारणा के जन्मदाता गैब्रील आलमण्ड ने राजनीतिक संस्कृति की व्याख्या इस प्रकार की है-“राजनीतिक संस्कृति का विचार इस ओर संकेत करता है कि किसी भी समाज की परम्पराएं, सार्वजनिक संस्थाओं की भावनाएं, नागरिकों के सामूहिक तर्क शक्ति और भावावेश तथा उसके नेताओं की कार्य शैली केवल ऐतिहासिक अनुभव की बेतरतीव उपज मात्र नहीं है बल्कि वे सब आपस में एक बड़ी सार्थक इकाई के रूप में सुगठित की जा सकती हैं और उनके द्वारा सम्बन्धों का ताना बना बुना जा सकता है जो सार्थक रूप से समझा जा सके। राजनीतिक संस्कृति व्यक्ति को उसके राजनीतिक आचरण का नियन्त्रणकारी आदेश देती है तथा उसकी सामूहिकता को इस प्रकार के मूल्यों एवं तर्कों की एक ऐसी व्यवस्थित संरचना प्रदान करती है जो संस्थाओं और संगठनों के कार्य निष्पादन में तालमेल स्थापित करती है।”
राजनीतिक संस्कृति की परिभाषाएं (Definitions of Political Culture)-राजनीतिक संस्कृति की अवधारणा की परिभाषा कई लेखकों के द्वारा दी गई
1. एलन आर० बाल (Allan R. Bal) के शब्दों में, “राजनीतिक संस्कृति उन अभिवृत्तियों और विश्वासों और भावनाओं और समाज के मूल्यों से मिलकर बनती है जिनका सम्बन्ध राजनीतिक पद्धति और राजनीतिक प्रश्नों से होता है।” (“A Political Culture is composed of attitudes, beliefs, emotions and values of society and that relates to political system and to political issues.”)
2. आलमण्ड और पावेल (Almond and Powell) ने अपनी पुस्तक “Comparative Politics : A Development Approach” में राजनीतिक संस्कृति की परिभाषा करते हुए लिखा है, “राजनीतिक संस्कृति किसी भी राजनीतिक प्रणाली के सदस्यों में राजनीति के प्रति पाए जाने वाले अभिमुखन और अभिवृत्तियों का स्वरूप है।” (“Political Culture is a pattern of individual attitudes and orientations towards politics among members of a political system.”)
3. राय मैक्रीडिस (Roy Mcridis) का विचार है कि, “सामान्य लक्ष्य तथा सामान्य स्वीकृत नियम ही राजनीतिक संस्कृति का अर्थ है।” (“Political Culture means commonly shared goals and commonly accepted rules.”)
4. फाइनर (Finer) का कथन है, “राष्ट्र की राजनीतिक संस्कृति मुख्यतः शासकों, राजनीतिक संस्थाओं तथा प्रक्रियाओं की वैधता से सम्बन्धित है।” (“Nation’s Political Culture seems to concentrate largely on the legitimacy of rules and political institution and procedures.”).
5. ऐरिक रो (Eric Rowe) के शब्दों में, “राजनीतिक संस्कृति व्यक्तिगत मूल्यों, विश्वासों तथा भावनात्मक व्यवहारों की आकृति है।” (“A Political Culture is a pattern of individual values, beliefs and emotional attitudes.”)
6. टालकॉब पारसन (Talcob Parsons) के अनुसार, “राजनीतिक संस्कृति का सम्बन्ध राजनीतिक उद्देश्यों के प्रति अनुकूलन है।” (“Political Culture is connected with orientations towards political object.”)
लूसियन पाई ने भी राजनीतिक संस्कृति की व्याख्या और परिभाषा अपनी पुस्तक, “Political Culture and Political Development” में प्रस्तुत की है। उसने लिखा है कि यह हाल ही में उत्पन्न हुआ शब्द है जो इन पुरानी धारणाओं, राजनीतिक विचारधाराओं, राष्ट्रीय नैतिकता और भावना, राष्ट्रीय राजनीति मनोविज्ञान और किसी जन-समूह के आधारभूत मूल्य से सम्बन्धित समझदारी को अधिक स्पष्ट और क्रमबद्ध बनाने का प्रयत्न करता है। इसका अर्थ यह है कि राजनीतिक संस्कृति व्यक्ति के लिए प्रभावशाली राजनीतिक व्यवहार की ओर मार्ग-निर्देशन करती है और समाज के लिए उन मूल्यों तथा विवेकपूर्ण विचारों की व्यवस्था करती है जोकि संस्थाओं और संगठनों के कार्यकलापों में तालमेल पैदा करता है।
इन सभी परिभाषाओं के आधार पर यह कहा जा सकता है कि राजनीतिक संस्कृति लोगों, राजनीतिक विश्वासों, वृत्तियों मनोवृत्तियों, परम्पराओं आदि का समूह है जो उनकी राजनीतिक गतिविधियों को प्रभावित करती है। राजनीतिक संस्कृति से किसी देश की राजनीतिक व्यवस्था के बारे में बहुत कुछ पता चल जाता है।
राजनीतिक संस्कृति की विशेषताएं
(CHARACTERISTICS OF POLITICAL CULTURE)
अथवा
राजनीतिक संस्कृति की प्रकृति (NATURE OF POLITICAL CULTURE)
अथवा
राजनीतिक संस्कृति के महत्त्वपूर्ण पहलू (SOME IMPORTANT ASPECTS OF POLITICAL CULTURE)
1. राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है (The Political Culture is comprehensive Concept)राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है जो लोगों की राजनीतिक प्रणाली के प्रति अभिवृत्तियों, विश्वासों, मूल्यों, मनोभावनाओं आदि से बनती है। जिस प्रकार किसी देश के साहित्य और संगीत की परम्पराओं और आस्थाओं की, कला और कौशल की मिली-जुली निरन्तर बहने वाली धारा उस देश की संस्कृति है, उसी तरह, किसी देश के राजनीतिक चरित्र और आदतों की, राजनीतिक सूझबूझ और व्यवहार की, राजनीतिक संस्थाओं और उनकी कार्य पद्धति की मिलीजुली धारा को उस समाज की राजनीतिक संस्कृति कहते हैं।
2. राजनीतिक संस्कृति सामान्य संस्कृति का भाग है (Political Culture is a part of General Culture)प्रत्येक राजनीतिक व्यवस्था की राजनीतिक संस्कृति मूल रूप से उस समाज की संस्कृति से ही प्रभावित होती है। प्रत्येक व्यवस्था की राजनीतिक संस्कृति अपने मुख्य तत्त्व, अपने आदर्श, अपने मूल्य उस व्यवस्था की सामान्य संस्कृति से ही ग्रहण करती है। डेनिश कावनाग के अनुसार राजनीतिक संस्कृति समाज की विशाल संस्कृति का ही एक भाग है। डॉ० हरिश्चन्द्र शर्मा के शब्दों में, “राजनीतिक संस्कृति अधिक सामान्य संस्कृति का एक अभिन्न पहलू है। एक संस्कृति के आधारभूत विश्वास, मूल्य और आदर्श सामान्यतया राजनीतिक संस्कृति के निर्माण में मुख्य भूमिका निभाते हैं। एक व्यक्ति के राजनीतिक विश्वास उसके अन्य विश्वासों का ही एक अंग है। सामान्य संस्कृति के मूल्यों और विश्वासों से राजनीतिक संस्कृति अप्रभावित नहीं रह सकती।”
3. विभिन्न राजनीतिक प्रणालियों की विभिन्न राजनीतिक संस्कृति (Different Political System have different Political Cultures)–राजनीतिक संस्कृति के विद्वानों का यह मत है कि विभिन्न राजनीतिक प्रणालियों की राजनीतिक संस्कृति भी विभिन्न होती है। एंग्लो-अमेरिका राजनीतिक प्रणालियों (इंग्लैण्ड और अमेरिका) की राजनीतिक संस्कृति एक जैसी है। महाद्वीपीय यूरोपीय राजनीतिक प्रणालियों (फ्रांस, इटली, नार्वे आदि) की राजनीतिक संस्कृति दूसरी प्रकार की है और औद्योगीकरण से पूर्व की या आंशिक रूप से औद्योगीकृत राजनीतिक प्रणालियां (पाकिस्तान, सीरिया, म्यांमार आदि) की तीसरी प्रकार की हैं जबकि सर्वाधिकारवादी राजनीतिक प्रणालियां (उत्तरी कोरिया, चीन आदि) की चौथी प्रकार की हैं। राजनीतिक संस्कृतियों के अलग-अलग होने के कारण ही एक ही प्रकार की राजनीतिक प्रणाली विभिन्न राज्यों में विभिन्न प्रकार से कार्य करती है। संसदीय शासन प्रणाली इंग्लैण्ड में बहुत सफल है जबकि तीसरी दुनिया (Third World) के देशों में सफल नहीं रही। भारत में लोकतन्त्र प्रणाली सफल है जबकि पाकिस्तान में बिल्कुल असफल रही है।
4. राजनीतिक संस्कृति का आधार (Basis of Political Culture)–लुसियन पाई का मत है कि राजनीतिक संस्कृति दो बातों पर आधारित होती है-
- राजनीतिक व्यवस्था के सामूहिक इतिहास की उपज।
- उन व्यक्तियों के जीवन इतिहासों की उपज जोकि उस व्यवस्था को जन्म देते हैं। इस प्रकार राजनीतिक संस्कृति की जड़ें सामाजिक जीवन की घटनाओं और व्यक्तिगत अनुभवों में समान रूप से निहित होती हैं।
5. राजनीतिक संस्कृति एक अमूर्त नैतिक धारणा (Political Culture is an abstract moral Concept)राजनीतिक संस्कृति निराकार अथवा अमूर्त है। इसका कोई रूप नहीं है। राजनीतिक संस्कृति को केवल अनुभव किया व समझा जा सकता है पर देखा नहीं जा सकता। राजनीतिक संस्कृति का मूल आधार व्यक्ति और समाज के राजनीतिक मूल्य, विश्वास व मनोवृत्तियां होती हैं। ये मूल्य और विश्वास सामान्य नैतिक धारणाओं के अंग होते हैं। अतः राजनीतिक संस्कृति एक अमूर्त नैतिक धारणा है।
6. राजनीतिक संस्कृति में गतिशीलता (Dynamics in Political Culture)-राजनीतिक संस्कृति स्थिर न होकर गतिशील होती है। यदि राजनीतिक संस्कृति ऐतिहासिक विरासत तथा भौगोलिक परिस्थितियों से प्रभावित होती है तो दूसरी ओर सामाजिक व आर्थिक तत्त्वों से भी प्रभावित होती है। सामाजिक व आर्थिक तत्त्व बदलते रहते हैं, जिस कारण राजनीतिक संस्कृति में भी परिवर्तन होते रहते हैं। राजनीतिक संस्कृति में परिवर्तन धीरे-धीरे और तीव्र भी हो सकते हैं।
7. राजनीतिक विकास और राजनीतिक संस्कृति की परस्पर घनिष्ठता (Close Relation between Political Development and Political Culture) राजनीतिक संस्कृति और राजनीतिक विकास में घनिष्ठ सम्बन्ध पाया जाता है। राजनीतिक संस्कृति राजनीतिक विकास की प्रक्रिया को अत्यधिक प्रभावित करती है। राजनीतिक संस्कृति के अध्ययन के उन तत्त्वों और शक्तियों को समझने में सहायता मिलती है जो विकास और आधुनिकीकरण को प्रेरित एवं बाधित करते हैं।
8. राजनीतिक संस्कृतियों की संरचना और रूप-रेखा (Structure and Configurations of Political Culture) लूसियन पाई का विचार है कि किसी भी समाज में एक-सी राजनीतिक संस्कृति नहीं पाई जाती। इनकी संरचना और रूप-रेखा भिन्न होती है-
- सभी राजतन्त्रों में शासकों अथवा सत्ताधारियों की संस्कृति और आम जनता की संस्कृति में एक मूल अन्तर पाया जाता है। जिन लोगों के हाथ में शक्ति होती है, राजनीति पर उनके दृष्टिकोण उन लोगों के दृष्टिकोण से भिन्न होते हैं जिनके हाथों में सत्ता नहीं होती।
- राजनीतिक विकास की प्रक्रिया के आधार पर राजनीतिक संस्कृतियों का एक और विभाजन आधुनिक रूप और परम्परागत रूप के बीच किया जाता है। यह विभाजन आधुनिक तकनीकों के प्रति अभिरूप रखने वाले लोगों को परम्परागत आदर्शों में विश्वास रखने वाले लोगों से अलग करते हैं। जैसे-जैसे इस क्षेत्र में विकास होता जाता है, वैसेवैसे शहरी और देहाती क्षेत्रों की विचारधारा में अन्तर बढ़ जाता है।
9. राजनीतिक संस्कृति में परम्पराओं की भूमिका (Role of traditions in Political Culture) राजनीतिक संस्कृति चाहे विकसित हो, चाहे अविकसित राजनीतिक परम्पराओं, आदतों तथा प्रथाओं से अवश्य प्रभावित होती है। वास्तव में, परम्पराएं ही राजनीतिक संस्कृतियों को विशिष्टता और सार्थकता प्रदान करती हैं। रिचार्ड रोज़ (Richard Rose) ने इंग्लैंड का उदाहरण देते हुए कहा है कि परम्परा और आधुनिकता के मिश्रण से इंग्लैण्ड के विकास को सन्तुलन एवं स्थायित्व प्राप्त हुआ।
10. राजनीतिक संस्कृति के निर्माणकारी तत्त्व (Foundations of Political Culture)-राजनीतिक संस्कृति के निर्माणकारी तत्त्व और चिह्न अनेक हैं। इसके निर्माणकारी तत्त्वों में ऐतिहासिक विकास, देश का भूगोल, सामाजिक तथा आर्थिक संरचना महत्त्वपूर्ण है और इसके चिह्नों में राष्ट्रीय ध्वज और राष्ट्रीय गान महत्त्वपूर्ण है। कुछ राज्यों में धार्मिक चिह्नों को अधिक महत्त्व दिया जाता है। कुछ राज्यों में ये राष्ट्रीय एकता के प्रतीक माने जाते हैं और कुछ राज्यों की राजनीतिक संस्कृति में पौराणिक अथवा काल्पनिक कथाओं का महत्त्व भी होता है। राजनीतिक संस्कृति स्थिर नहीं होती। उसका विकास होता रहता है।
लघु उत्तरीय प्रश्न-
प्रश्न 1.
राजनीतिक सभ्याचार से आप क्या समझते हैं ?
अथवा
राजनीतिक संस्कृति का अर्थ लिखिए।
उत्तर-
किसी देश के राजनीतिक चरित्र और आदतों की, राजनीतिक सूझ-बूझ और व्यवहार की, राजनीतिक संस्थाओं और उनकी कार्य पद्धति की मिली-जुली धारा को उस समाज की राजनीतिक संस्कृति (सभ्याचार) कहते हैं। राजनीतिक संस्कृति की अवधारणा के जन्मदाता गैब्रील आल्मण्ड ने राजनीतिक संस्कृति की व्याख्या इस प्रकार की है”राजनीतिक संस्कृति का विचार इस ओर संकेत करता है कि किसी भी समाज की परम्पराएं, सार्वजनिक संस्थाओं की भावनाएं, नागरिकों के सामूहिक तर्क शक्ति और भावावेश तथा उसके नेताओं की कार्य शैली केवल ऐतिहासिक अनुभव की बेतरतीब उपज मात्र नहीं है बल्कि वे सब आपस में एक बड़ी सार्थक इकाई के रूप में संगठित की जा सकती हैं और उनके द्वारा सम्बन्धों का तानाबाना बुना जा सकता है जो सार्थक रूप में समझा जा सके। राजनीतिक संस्कृति व्यक्ति को उसके राजनीतिक आचरण का नियन्त्रणकारी आदेश देती है तथा उसकी सामूहिकता को इस प्रकार के मूल्यों एवं तर्कों की एक ऐसी व्यवस्थित संरचना प्रदान करती है जो संस्थाओं और संगठनों के कार्य निष्पादन में तालमेल स्थापित करती है।”
प्रश्न 2.
राजनीतिक संस्कृति को परिभाषित कीजिए।
उत्तर-
- ऐलन आर० बाल के शब्दों में, “राजनीतिक संस्कृति उन अभिवृत्तियों और विश्वासों तथा भावनाओं और समाज के मूल्यों से मिलकर बनती है जिनका सम्बन्ध राजनीतिक पद्धति और राजनीतिक प्रश्नों से होता है।”
- आल्मण्ड और पॉवेल के अनुसार, “संस्कृति किसी भी राजनीतिक प्रणाली के सदस्यों में राजनीति के प्रति पाए जाने वाले अभिमुखन और अभिवृत्तियों का स्वरूप है।”
- सैम्यूल बीयर का कहना है, “लोगों के मूल्य, विश्वास व भावात्मक वृत्तियों की सरकार को किस प्रकास के संचालित होना चाहिए और उसे क्या करना चाहिए, ही राजनीतिक संस्कृति के तत्त्व हैं।” ।
- राय मैक्रीडिस के अनुसार, “सामान्य लक्ष्य तथा सामान्य स्वीकृत नियम ही राजनीतिक संस्कृति का अर्थ है।”
प्रश्न 3.
राजनीतिक संस्कृति सभ्याचार की चार विशेषताओं का वर्णन करें।
अथवा
राजनीतिक संस्कृति-सभ्याचार की कोई चार विशेषताएं लिखो।
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति की मुख्य विशेषताएं निम्नलिखित हैं
- राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है-राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है जो लोगों की राजनीतिक प्रणाली के प्रति अभिवृत्तियों, विश्वासों, मूल्यों, मनोभावनाओं आदि से बनती है। किसी देश के राजनीतिक चरित्र और आदतों की राजनीतिक सूझ-बूझ और व्यवहार की राजनीतिक संस्थाओं और उनकी कार्य पद्धति की मिलीजुली धारा को उस समाज की राजनीतिक संस्कृति कहते हैं।
- राजनीतिक संस्कृति सामान्य संस्कृति का भाग है-प्रत्येक राजनीतिक व्यवस्था की राजनीतिक संस्कृति मूल रूप से उस समाज की संस्कृति से ही प्रभावित होती है। प्रत्येक व्यवस्था की राजनीतिक संस्कृति अपने मुख्य तत्त्व, अपने आदर्श, अपने मूल्य उस व्यवस्था की सामान्य संस्कृति से ही ग्रहण करते हैं।
- विभिन्न राजनीतिक प्रणालियों की विभिन्न राजनीतिक संस्कृति-राजनीतिक संस्कृति के विद्वानों का यह मत है कि विभिन्न राजनीतिक प्रणालियों की राजनीतिक संस्कृति भी विभिन्न होती है। ऐंग्लो-अमेरिकन राजनीतिक प्रणालियों (इंग्लैण्ड और अमेरिका) की राजनीतिक संस्कृति एक-जैसी है। महाद्वीपीय यूरोपीय राजनीतिक प्रणालियों (फ्रांस, इटली, नार्वे आदि) की राजनीतिक संस्कृति दूसरी प्रकार की है।
- गतिशीलता-राजनीतिक संस्कृति स्थिर न होकर गतिशील होती है।
प्रश्न 4.
राजनीतिक संस्कृति के धर्म-निरपेक्षीकरण से आपका क्या अभिप्राय है ?
अथवा
निरपेक्ष राजनीतिक सभ्याचार किसे कहते हैं ?
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति समय और परिस्थितियों के अनुसार बदलती रहती है। किसी देश की राजनीतिक संस्कृति स्थायी नहीं होती। राजनीतिक संस्कृति में जब परिवर्तन के फलस्वरूप लोग अपने राजनीतिक दृष्टिकोण में विवेकपूर्ण (Rational), विश्लेषणात्मक (Analytical) और व्यावहारिक बनते चले जाते हैं तो इसको राजनीतिक संस्कृति का धर्म-निरपेक्षीकरण कहा जाता है। राजनीतिक संस्कृति के धर्म-निरपेक्षीकरण में लोगों के राजनीतिक विश्वास, दृष्टिकोण तथा विचार संकुचित न होकर अत्यधिक व्यापक होते हैं। लोगों को राजनीतिक सहभागी (Political Participation) तथा राजनीतिक भर्ती (Political Recruitment) के बारे में काफ़ी जानकारी प्राप्त होती है और वे राजनीतिक प्रणाली की वैधता (Legitimacy) के सम्बन्ध में विवेकपूर्ण निर्णय करने की स्थिति में होते हैं। धर्मनिरपेक्षीकरण राजनीतिक संस्कृति में लोगों में जागृति और राजनीतिक बुद्धिमत्ता बहुत अधिक होती है। लोगों में राजनीतिक प्रणाली को समझने की शक्ति होती है और वे किसी भी राजनीतिक समस्या पर निष्पक्ष होकर अपनी राय देने की स्थिति में होते हैं।
प्रश्न 5.
राजनैतिक सभ्याचार को प्रभावित करने वाले कोई चार तत्त्व लिखिए।
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति के निर्धारक तत्त्व इस प्रकार हैं
- ऐतिहासिक आधार- इतिहास और इतिहास की घटनाएं राजनीतिक संस्कृति को सबसे अधिक प्रभावित करती हैं। कोई भी राजनीतिक व्यवस्था इतिहास के अनुभवों और शिक्षाओं को भुला नहीं सकती।
- भौगोलिक आधार- भूगोल एक स्थायी तत्त्व है, इसलिए राजनीतिक संस्कृति को प्रभावित करने वाला यह दूसरा प्रमुख आधार है।
- सामाजिक बहुलता-राजनीतिक संस्कृति के निर्माणकारी तत्त्वों में सामाजिक बहुलता का भी अपना विशेष महत्त्व है। सामाजिक बहुलता तथा विविधता वाले समाज में अनेक उप-संस्कृतियों का निर्माण होता है।
- शिक्षा का प्रचार एवं प्रसार भी राजनीतिक संस्कृति का एक निर्धारित तथ्य है।
प्रश्न 6.
राजनीतिक संस्कृति में टेलीविज़न की क्या भूमिका है ?
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति में टेलीविज़न की महत्त्वपूर्ण भूमिका है। वर्तमान समय में टेलीविज़न प्रचार का एक महत्त्वपूर्ण साधन है। इसमें समय-समय पर सामाजिक विषयों पर चर्चा प्रसारित की जाती है तथा विभिन्न देशों की अलग-अलग संस्कृतियों के विषय में बताया जाता है। टेलीविज़न में विभिन्न राजनीतिक गतिविधियों एवं घटनाओं से सम्बन्धित समाचार प्रसारित किए जाते हैं। इन सब का दर्शकों के दिमाग पर प्रभाव पड़ना स्वाभाविक है, क्योंकि दर्शक जिस प्रकार के कार्यक्रम टेलीविज़न में देखते हैं, उसी प्रकार से उनके विचार और मूल्य बनते हैं।
अति लघु उत्तरीय प्रश्न-
प्रश्न 1.
राजनीतिक संस्कृति से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर–
किसी देश के राजनीतिक चरित्र और आदतों की, राजनीतिक सूझ-बूझ और व्यवहार की, राजनीतिक संस्थाओं और उनकी कार्य पद्धति की मिली-जुली धारा को उस समाज की राजनीतिक संस्कृति कहते हैं।
प्रश्न 2.
राजनीतिक संस्कृति की परिभाषाएं बताएं।
उत्तर-
- ऐलन आर० बाल के शब्दों में, “राजनीतिक संस्कृति उन अभिवृत्तियों और विश्वासों तथा भावनाओं और समाज के मूल्यों से मिलकर बनती है जिनका सम्बन्ध राजनीतिक पद्धति और राजनीतिक प्रश्नों से होता है।”
- आल्मण्ड और पॉवेल के अनुसार, “संस्कृति किसी भी राजनीतिक प्रणाली के सदस्यों में राजनीति के प्रति पाए जाने वाले अभिमुखन और अभिवृत्तियों का स्वरूप है।”
प्रश्न 3.
राजनीतिक संस्कृति के तीन अंगों के नाम लिखें।
उत्तर-
- (1) ज्ञानात्मक दिशामान (Congnitive Orientation)
- प्रभावात्मक दिशामान (Affective Orientation)
- मूल्यांकिक दिशामान (Evaluation Orientation)।
प्रश्न 4.
राजनीतिक संस्कृति की कोई दो विशेषताओं का वर्णन कीजिए। (P.B. 2017)
उत्तर-
- राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है-राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है जो लोगों की राजनीतिक प्रणाली के प्रति अभिवृत्तियों, विश्वासों, मूल्यों, मनोभावनाओं आदि से बनती है। किसी देश के राजनीतिक चरित्र और आदतों की राजनीतिक सूझ-बूझ और व्यवहार की राजनीतिक संस्थाओं और उनकी कार्य पद्धति की मिली-जुली धारा को उस समाज की राजनीतिक संस्कृति कहते हैं।
- राजनीतिक संस्कृति सामान्य संस्कृति का भाग है-प्रत्येक राजनीतिक व्यवस्था की राजनीतिक संस्कृति मूल रूप से उस समाज की संस्कृति से ही प्रभावित होती है। प्रत्येक व्यवस्था की राजनीतिक संस्कृति अपने मुख्य तत्त्व, अपने आदर्श, अपने मूल्य उस व्यवस्था की सामान्य संस्कृति से ही ग्रहण करते हैं।
वस्तुनिष्ठ प्रश्न-
प्रश्न I. एक शब्द/वाक्य वाले प्रश्न-उत्तर-
प्रश्न 1.
राजनीतिक संस्कृति का कोई एक अंग या भाग लिखें।
उत्तर-
ज्ञानात्मक आचरण।
प्रश्न 2.
राजनीतिक संस्कृति के ज्ञानात्मक आचरण का अर्थ लिखें।
उत्तर-
ज्ञानात्मक आचरण का मूल अभिप्राय यह होता है कि किसी देश के व्यक्तियों का अपनी राजनीतिक प्रणाली के विषय में कितना ज्ञान है।
प्रश्न 3.
राजनीतिक संस्कृति के मूल्यांकनकारी आचरण का क्या अर्थ है ?
उत्तर-
मूल्यांकनकारी आचरण से अभिप्राय यह है कि किसी देश के लोग अपनी राजनीतिक प्रणाली की कार्यविधि का कितना निष्पक्ष मूल्यांकन करते हैं।
प्रश्न 4.
राजनीतिक संस्कृति का कोई एक तथ्य लिखें।
उत्तर-
राजनीतिक मूल्य (Political Values)
प्रश्न 5.
किस प्रकार के तथ्य राजनीतिक संस्कृति के मूल आधार माने जाते हैं ?
उत्तर-
ऐतिहासिक तथ्य, भौगोलिक तथ्य तथा सामाजिक-आर्थिक तथ्य राजनीतिक संस्कृति के मूल आधार माने जाते हैं।
प्रश्न 6.
आलमण्ड के अनुसार राजनीतिक संस्कृति का कोई एक रूप लिखें।
उत्तर-
संकीर्ण या सीमित संस्कृति (Parochial Political Culture)।
प्रश्न 7.
राजनीतिक संस्कृति किसका भाग है ?
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति सामान्य संस्कृति का भाग है।
प्रश्न 8.
किस विद्वान् ने राजनीतिक संस्कृति की विस्तृत व्याख्या की है ?
उत्तर-
लुसियन पाई ने राजनीतिक संस्कृति की विस्तृत व्याख्या की है।
प्रश्न 9.
राजनीतिक संस्कृति की अवधारणा का सर्वप्रथम प्रयोग किस विद्वान ने किया ?
उत्तर-
राजनीतिक संस्कृति की अवधारणा का सर्वप्रथम प्रयोग आल्मण्ड ने किया था।
प्रश्न 10.
राजनीतिक संस्कृति के दो तत्त्व लिखो।
अथवा
राजनीतिक संस्कृति के दो मुख्य अंग लिखिए।
उत्तर-
(1) राजनीतिक संस्कृति एक व्यापक धारणा है।
(2) राजनीतिक संस्कृति सामान्य संस्कृति का भाग है।
प्रश्न II. खाली स्थान भरें-
1. राजनीति संस्कृति शब्द का सबसे पहले प्रयोग ………… ने किया।
2. राजनीति संस्कृति का सबसे पहले प्रयोग सन् ……….. में किया गया।
3. आल्मण्ड ने राजनीति संस्कृति का प्रयोग अपने एक लेख ……….. में किया।
4. आल्मण्ड द्वारा लिखा गया लेख ……….. में छपा।
5. ……… के अनुसार सामान्य लक्ष्य तथा सामान्य स्वीकृत नियम ही राजनीति संस्कृति का अर्थ है।
उत्तर-
- गेबरील आल्मण्ड
- 1956
- Comparative Political System
- जनरल ऑफ पोलिटिकल साईंस
- राय मैक्रीडिस।
प्रश्न III. निम्नलिखित वाक्यों में से सही एवं ग़लत का चुनाव करें-
1. राजनीतिक संस्कृति एक परम्परागत धारणा है।
2. राजनीतिक संस्कृति का प्रयोग सर्वप्रथम प्लेटो ने किया।
3. राजनीति संस्कृति की धारणा का मुख्य समर्थक आल्मण्ड है।
4. फाइनर के अनुसार राष्ट्र की राजनीति मुख्यत: शासकों, राजनीतिक संस्थाओं तथा प्रक्रियाओं की वैधता से सम्बन्धित है।
5. राजनीतिक संस्कृति एक संकुचित धारणा है।
उत्तर-
- ग़लत
- ग़लत
- सही
- सही
- ग़लत।
प्रश्न IV. बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
राजनीतिक संस्कृति में क्या सम्मिलित नहीं है ?
(क) राजनीतिक मूल्य
(ख) राजनीतिक विश्वास
(ग) राजनीतिक दृष्टिकोण
(घ) हित समूह।
उत्तर-
(घ) हित समूह।
प्रश्न 2.
‘Political Culture and Political Development’ का लेखक कौन है ?
(क) सिडनी वर्बा
(ख) लूसियन पाई
(ग) रोज और डोगन
(घ) एलन आर० बाल।
उत्तर-
(ख) लूसियन पाई
प्रश्न 3.
आल्मण्ड के अनुसार राजनीतिक संस्कृति के घटक हैं
(क) प्रभावात्मक अनुकूलन
(ख) ज्ञानात्मक अनुकूलन
(ग) मूल्यांकन अनुकूलन
(घ) उपरोक्त सभी।
उत्तर-
(घ) उपरोक्त सभी।
प्रश्न 4.
राजनीतिक संस्कृति के महत्त्व है –
(क) राजनीतिक शिक्षा
(ख) कानून एवं व्यवस्था
(ग) राजनीतिक स्थिरता
(घ) उपरोक्त सभी।
उत्तर-
(घ) उपरोक्त सभी।
प्रश्न 5.
राजनीतिक संस्कृति की धारणा का प्रयोग सर्वप्रथम किस वर्ष किया गया ?
(क) 1856
(ख) 1956
(ग) 1789
(घ) 1950.
उत्तर-
(ख) 1956